कर्म-सिद्धांत

कर्म-सिद्धांत के दो महत्वपूर्ण/उपयोगी पहलू –
1. मेरे वर्तमान की जिम्मेदारी सिर्फ मेरी है ।
2. अपने भविष्य को बनाना/बिगाड़ना मेरे हाथ में है ।

गुरुवर मुनि श्री क्षमासागर जी

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One Response

  1. यह कथन सत्य है कि कर्म सिद्वांत के दो उपयोगी पहलू होते हैं।पहला जो मिला है वह वर्तमान की जिम्मेदारी सिर्फ मेरी है लेकिन दूसरा भविष्य को बनाना या बिगाड़ना स्वयं के हाथ में ही होता है।अतः जो मिला है उसे स्वीकार करना ही पड़ता है लेकिन पुरुषार्थ करने पर भविष्य बनाना अपने हाथ में होता है।

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