Category: डायरी

भेड़ चाल

कुछ लोग जिधर की हवा, उधर ही चल पड़ते हैं ! हालांकि… ये काम कचरे का है। (सुरेश)

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साधन / रोग

साधनों के अतिभोगी न बनो, ज़रा योगी भी बनो, ताकि रोगी बनने से छुटकारा मिल सके !

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Poor / Wealthy

“The poor spend most of their money, the middle-class save most of their money, & the wealthy invest most of their money; hence, they are

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Happiness

गिलास आधा भरा है या खाली, इस विवाद में क्यों पड़ें ! आधा भरने का पुरुषार्थ क्यों न करें !! इसे कहते हैं → Adding

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साधन का सहारा

संस्कार शिविरों के अनुभवों को तब तक याद रखें, जब तक उनसे ऊपर न उठ जाय (कई शिवरार्थी साधु बन गये जैसे मुनि श्री पूज्यसागर

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अर्थ / परमार्थ

जब तक व्यक्ति ख़ुद अपने को संसार के लिये अर्थपूर्ण मानेगा, वह परमार्थ में अर्थहीन रहेगा। जब संसार के लिये अर्थहीन हो जायेगा तब परमार्थ

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निमित्त / नियति

निमित्त तथा नियति को एक समय में एक को ही महत्व देने का मतलब उसकी अधीनता स्वीकार करना। लेकिन दोनों तथा अन्य कारणों (पाँचों संवाय

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नियंत्रण

मिट्टी का घड़ा बाहर की गर्मी को अंदर प्रवेश नहीं करने देता। मनुष्य भी तो मिट्टी से बना/ मिट्टी में ही (घड़े की तरह) मिल

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मंगल आशीष

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May 17, 2024

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