दीपावली

हमेशा होली (राग द्वेष की कीचड़) रही है,
एक बार दिवाली (ज्ञान का प्रकाश) आ जाये , तो होली आयेगी ही नहीं/ होली हो ली ।

आचार्य श्री विद्या सागर जी

2) दिवाली दियों का/ प्रकाश का पर्व है,
दियों से दिये जलायें,
धुयें रूपी अंधकार/ प्रदूषण न फैलायें,
अपनी खुशी में किसी के घर का दिया न बुझ जाय ।

Share this on...

5 Responses

    1. एक बार जीवन में दिवाली (ज्ञान का प्रकाश /स्वचछता ) आ जाये तो होली (राग द्वेष की कीचड़ ) तो हो ली (समाप्त ) ना !!

  1. Celebrate Deepawali whatever way u like it because that is what u are going to do anyway. Wish u all a happy Deepawali

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

This question is for testing whether you are a human visitor and to prevent automated spam submissions. *Captcha loading...

Archives

Archives
Recent Comments

October 30, 2016

December 2024
M T W T F S S
 1
2345678
9101112131415
16171819202122
23242526272829
3031