Day: August 4, 2018

भ्रम

स्पर्श, रस, गंध और वर्ण पुदगल में हैं और आत्मा उसे आत्मसात कर अपने में मान रही है ! (खुद को शरीर मान बैठी है)

Read More »

मायाचारी

एक खेत में देवता रहता था । किसान उसमें खेती करने गया तो दोनों में साझेदारी का सौदा हो गया । देवता ने नीचे की

Read More »

मंगल आशीष

Archives

Archives
Recent Comments

August 4, 2018