तस्वीर
जिसको भी गलत तस्वीर दिखाई , उसे ही खुश रख पाया मैं ;
दर्पण दिखाने पर तो , सारे ही रुठ गये मुझसे ।
(श्री तुषार)
दर्पण अपनी ओर रखो, पीछे का भाग दूसरों की ओर ;
अपना कल्याण , दूसरे खुश ।
चिंतन
जिसको भी गलत तस्वीर दिखाई , उसे ही खुश रख पाया मैं ;
दर्पण दिखाने पर तो , सारे ही रुठ गये मुझसे ।
(श्री तुषार)
दर्पण अपनी ओर रखो, पीछे का भाग दूसरों की ओर ;
अपना कल्याण , दूसरे खुश ।
चिंतन
One Response
One “teer” & two targets: great