जिनको अपने कर्मों पर भरोसा नहीं होता, उनके मरणांतिक समुद्घात होता है ।
मुनि श्री सुधासागर जी
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उपरोक्त कथन सत्य है कि जिनको अपने कर्मों पर भरोसा नहीं होता है, उनके मरणांतिक समुद्वात होता है। अतः जीवन में जब कषाय पैदा होता है,तभी मरणांतिक समुद्वात होता है। इससे बचने के लिए क़ोध एवं कषाय पर नियंत्रण रखना परम आवश्यक है ताकि उक्त घात न हो सकें।
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उपरोक्त कथन सत्य है कि जिनको अपने कर्मों पर भरोसा नहीं होता है, उनके मरणांतिक समुद्वात होता है। अतः जीवन में जब कषाय पैदा होता है,तभी मरणांतिक समुद्वात होता है। इससे बचने के लिए क़ोध एवं कषाय पर नियंत्रण रखना परम आवश्यक है ताकि उक्त घात न हो सकें।