Month: November 2014
भाव/फल
दु:खी होकर/अज्ञानता से शरीर छोड़ने के भाव से पापबंध, मोक्ष सुख के लिये आनंद और ज्ञान सहित समाधिमरण करने से पुण्य/मोक्ष । क्रिया दोनों में
प्रेम/राग
जिसमें आकुलता, वह राग । जिसमें निराकुलता, वह प्रेम । मुनि श्री प्रमाणसागर जी
Trust
Friends- How will you react, if I cheat you ? My decision was to trust you, proving it right or wrong is your’s. (Mrs.Parul-Vadodara)
Hard Work
All winners are not Hard Working. But all Hard workers are winners.
माँ/महात्मा/परमात्मा
तीनों में “मा” है । पर माँ 18 साल तक, महात्मा 50 तक ,परमात्मा अंत तक Guide करते हैं । (जो मंदबुद्धि होते हैं वे
वृत्तिपरिसंख्यान
मुनियों के मूलगुणों में ये नहीं आता । मुद्रा छोड़ने के बाद कायोत्सर्ग व सिद्धभक्ति करने से पहले, मुनि दुबारा मुद्रा लेकर दूसरे घरों में
नियम
टूटने के डर से काँच का कीमती सामान खरीदना रद्द तो नहीं करते न ? फिर टूटने के डर से नियम लेना क्यों रद्द कर
Importance
It is not important who & how many are ahead of you, and how many are behind you. Importance is who & how many are
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