Month: April 2020
गृहस्थी में फंसने पर !
तुम तो जेल में हो तो समता/शांति से काट लो, आचरण ठीक रखो तो राहत मिलेगी; पर अपने बच्चों को तो जेल में मत फंसाओ
धर्म / पुण्य
भगवान महावीर के समय एक कसाई रोज़ भैंसे मारता था । श्रेणिक राजा ने उसे जेल में डाल दिया । पर जेल में भी वह
कर्म भोगना/काटना
कर्म भोगना नहीं, इसमें तो आकुलता/व्याकुलता होती है, कर्म काटना सही है, यह समता भाव के साथ ही संभव है । मुनि श्री प्रमाणसागर जी
नीति / नीयत
नेता नीति बना सकता है, पर उसका Implementation जनता की नीयत तय करेगी । मुनि श्री प्रमाणसागर जी (धर्म के क्षेत्र में भगवान नीति बनाते
भगवानों में अंतराल
शुरु शुरु में अंतराल ज्यादा, बाद में कम ! शायद इसलिये कि बाद के काल में भगवान की जरूरत ज्यादा/जल्दी जल्दी पड़ती थी । मुनि
फर्ज़ / फर्ज़ी
जो फर्ज़ नहीं निभाते, वे फर्ज़ी । फर्ज़ निभाने के लिय, कर्ज़ का स्मरण बनाये रखना होगा ।
द्रव्यों की अखंडता
पुदगल के अलावा पाँचों द्रव्य अखंड हैं । आर्यिका श्री विज्ञानमति माताजी
संबंध
कोरोना जैसी महामारी से भी सीखो…सब संबंध धोखे के हैं, हर व्यक्ति को छूने से भी डरो/ सावधानी बरतो चाहे वह अपना ही बच्चा क्यों
पुण्य
पुण्य की स्थिति पाप-रूप*, सो घटाओ पुण्य से । पुण्य की निर्जरा का कहीं उल्लेख नहीं । आचार्य श्री विद्यासागर जी * जैसे पाप-प्रकृतियों की
सेवा
जो सेवा की जाती है, वह सकाम सेवा है ; जो सेवा होती है, वह निष्काम सेवा है मुनि श्री प्रमाण सागर जी *विपत्ति के
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