उत्तम संयम धर्म
- संयम का मतलब होता है – आलंबन, बंधन ।
जैसे लता ,पेड़ के सहारे ,थोड़ा सा बंधन पाकर ,उन्नति को प्राप्त करती है, फलती फूलती है । - शर्त ये है कि उस लता में शुद्ध खाद और पानी ड़ाला जाये ,जो हमारी भावनाओं का हो ।
- ये बंधन निर्बंध करने में सहायक होता है ,
- आगे जब वो शक्ति पा लेती है तब उसे बंधनों की जरूरत नहीं रहती ।
- गगरी के गले में रस्सी बांधी जाती है तो वो उत्थान को प्राप्त होती है, पतन भी हो जाये उसका तो भी वो कीचड़ में से बाहर निकल आती है ।
- संकल्प से ही अच्छे संस्कार बनते हैं, टूटने के लिये तो किसी संकल्प की जरूरत नहीं होती ।
2 Responses
Sanyam ka matlab “bandhan” to samajh mein aata hai magar “aalamban” kaise? Please explain
संयम का आलंबन लेकर ही तो प्रगति की जाती है।