आदिनाथ भगवान 83 लाख पूर्व, भोगों के लिये नहीं रुके;
बल्कि
संसार को कर्म सिखाने/उनकी समस्याओं का समाधान करने के लिये रुके थे ।
मुनि श्री सुधासागर जी
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यह कथन पूर्ण सत्य है कि श्री आदिनाथ भगवान ने ही संसार के सभी प़ाणियों को जीवकार्जन किस प्रकार करना है उसके विषय में विस्तार से बताया गया था इसके पूर्व प़ाणियो को ज्ञान नही था।भगवान् ने अपना समय भोगो मे नही बिताया था ।
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यह कथन पूर्ण सत्य है कि श्री आदिनाथ भगवान ने ही संसार के सभी प़ाणियों को जीवकार्जन किस प्रकार करना है उसके विषय में विस्तार से बताया गया था इसके पूर्व प़ाणियो को ज्ञान नही था।भगवान् ने अपना समय भोगो मे नही बिताया था ।