उपरोक्त कथन सत्य है कि स्वागत सबका, प़तीक्षा किसी की नहीं! अतः वीतरागता ही जीवन का कल्याण कर सकता है। जैन धर्म में वीतरागता की महत्वपूर्ण भूमिका रहती है जो मोक्ष का रास्ता दिखाता है। Reply
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उपरोक्त कथन सत्य है कि स्वागत सबका, प़तीक्षा किसी की नहीं! अतः वीतरागता ही जीवन का कल्याण कर सकता है। जैन धर्म में वीतरागता की महत्वपूर्ण भूमिका रहती है जो मोक्ष का रास्ता दिखाता है।
जब हम करें प्रतीक्षा,
मन होता बेचैन।
जो आए सो बिठाईए,
खराब न होगी रैन।।