युवावस्था में जो मांसपेशियाँ शक्त्ति देती हैं, वही वृद्धावस्था में बोझ बन जाती हैं/शक्त्ति क्षीण करती हैं।
चिंतन
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Ji उपरोक्त कथन सत्य है कि युवाअस्था में जो मासपैशियो में शक्ति देती है, वही वृद्धावस्था में बोझ बन जाते थे एवं शक्ति क्षीणता होता जाती है! अति जीवन में जितनी शक्ति होता था, उसी का सही उपयोग करना चाहिए ताकि जीवन का कल्याण हो तो है!
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Ji उपरोक्त कथन सत्य है कि युवाअस्था में जो मासपैशियो में शक्ति देती है, वही वृद्धावस्था में बोझ बन जाते थे एवं शक्ति क्षीणता होता जाती है! अति जीवन में जितनी शक्ति होता था, उसी का सही उपयोग करना चाहिए ताकि जीवन का कल्याण हो तो है!
समय समय की बात है,
समय होत बलवान।
राम हराया रावण,
लवकुश से हारे राम।।