पाप / पुण्य

पापी से पापी कुछ पुण्य तो करता ही है, तभी तो पेट भरता है/अपने बच्चों पर दया करता है ।

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3 Responses

  1. Magar woh apne hi bacchon ka pet moha wash bharta hai; toh kya usko punya/daya manenge? Doosron ke bacchon ka pet bharta to baat alag thi?

    1. यहाँ बात हो रही है…
      “पापी से पापी भी थोड़ा तो पुण्य करता ही है जैसे अपने बच्चों के प्रति दया भाव”
      तो थोड़ा पुण्य तो मिलेगा ।
      इसकी तुलना उस सर्पिनी से करें जो अपने ही बच्चों को खा लेती है/उस स्त्री से करें जो अपने बच्चे के टुकड़े करवा कर गर्भपात कराती है ।

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