स्थिति बंध
तीव्र कषाय से देव, मनुष्य और तिर्यंच आयु की स्थिति कम बंधती है । बाकी 145 कर्म प्रकृतियों की स्थिति (तीर्थंकर प्रकृति तथा साता भी) ज्यादा बनती है ।
पं. रतनलाल बैनाडा जी
तीव्र कषाय से देव, मनुष्य और तिर्यंच आयु की स्थिति कम बंधती है । बाकी 145 कर्म प्रकृतियों की स्थिति (तीर्थंकर प्रकृति तथा साता भी) ज्यादा बनती है ।
पं. रतनलाल बैनाडा जी