अंतरंग
दाहसंस्कार के समय सिर को फोड़ा जाता है ताकि अंदर से भी पूरी तरह राख बन जाय, अधूरी रह गयी तो कितनी वीभत्स दिखेगी।
जिंदा में सारी मेहनत बाह्य को सजाने-संवारने में, कभी अंतरंग की वीभत्सता को दूर करने की कोशिश की ?
चिंतन
दाहसंस्कार के समय सिर को फोड़ा जाता है ताकि अंदर से भी पूरी तरह राख बन जाय, अधूरी रह गयी तो कितनी वीभत्स दिखेगी।
जिंदा में सारी मेहनत बाह्य को सजाने-संवारने में, कभी अंतरंग की वीभत्सता को दूर करने की कोशिश की ?
चिंतन
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One Response
अंतरंग का जो उदाहरण दिया गया है वह पूर्ण सत्य है! अतः जीवन में ब़ाह्य संजने संवारने का कार्य नहीं करना चाहिए बल्कि अंतरंग की वीभत्सता दूर करने का प़यास करना चाहिए ताकि जीवन का कल्याण हो सकता है!