परिग्रह छोड़ना
यदि चोरी हो जाये, तो क्या परिग्रह छूटा माना जा सकता है ?
दान पूर्वक छोड़ना और चोरी होने में उतना ही फर्क है जितना, खाद्य पदार्थ भूखे को खिलाने और उल्टी होने में है ।
मुनि श्री प्रमाणसागर जी
यदि चोरी हो जाये, तो क्या परिग्रह छूटा माना जा सकता है ?
दान पूर्वक छोड़ना और चोरी होने में उतना ही फर्क है जितना, खाद्य पदार्थ भूखे को खिलाने और उल्टी होने में है ।
मुनि श्री प्रमाणसागर जी
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One Response
परिग़ह का मतलब यह मेरा है, मैं इसका स्वामी हूं इस प्रकार का ममत्व भाव होता है। जैन धर्म में अणुव्रत में परिग़ह वृत यानी अधिक इच्छाओं का त्याग करना होता है।
अतः उक्त कथन सत्य है कि चोरी होना परिग़ह की श्रेणी में नहीं आता है बल्कि दान पूर्वक छोड़ना ही परिग़ह वृत माना जाता है।
जीवन के कल्याण के लिए उक्त वृत को पालना चाहिए।