Category: चिंतन
कर्म-बल
पूरे दिन घने बादल छाये रहे, भानु के अस्तित्व का भी भान नहीं हो रहा है, उस जैसा प्रतापी भी मुंह छिपाये बैठा है ।
सम्बंध
जब तक अपने को शरीर मानते रहेंगे, संसारियों से सम्बंध बने रहेंगे, प्रगाढ़ होते रहेंगे । जब आत्मा मानने लगोगे तब परमात्मा से… । चिंतन
अंतरंग की सफाई
बाहर का कचरा ( अपशब्द/ Criticism ) झेलने की आदत डाल लो, अंदर का कचरा अपने आप साफ होने लगेगा । चिंतन
अक्लमंद
जो अकल की बात को अकल में बैठा ले, वह अक्लमंद। बुद्धू को अकल की बात बताओ तो उल्टा पड़ जाता है। तुम क्यों बता
भगवान
भगवान में तो सैकड़ों सूर्य का तेज है, इनसे दूर से ही प्रेरणा लेना। अपने काम कराने की प्रार्थना भी मत करना, भगवान आ भी
ध्यान
क्रियात्मक प्रवृत्ति तथा भावात्मक निवृत्ति को छोड़कर जो बचा, वह ध्यान कहलाता है । चिंतन
पसीना
पसीना दो तरह का – 1. कसरत करने से शरीर के लिये लाभदायक । 2. तप करने से आत्मा के लिये लाभदायक । चिंतन
वैभव के लिये झगड़े
जिस सीट के लिये इतनी मारपीट/झगड़ा किया, उसे स्टेशन आने पर छोड़कर चुपचाप चल देते हैं । अंत समय आने पर ! लालमणी भाई –
Men / Women
“M” और “W” एक दूसरे से उल्टे होते हुये भी एक दूसरे के पूरक हैं । “M” और “W” में तीन दिशाओं में तो Boundaries
सामुहिक प्रार्थना
सैना के पुल पर चलते समय, उनके मार्च की लय तोड़ दी जाती है । वरना मज़बूत पुल के भी टूटने का अंदेशा रहता है
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